7 अक्टूबर को पुर्तगाल के एक छोटे से शहर में एक बच्चे का जन्म हुआ. बच्चे की आंखें और नाक ग़ायब थे और सिर का एक हिस्सा भी नहीं था.
जन्म के पहले बच्चे के कई तरह के टेस्ट हुए थे. लेकिन फिर भी मां-बाप को बच्चे की इस शारीरिक स्थिति के बारे में नहीं बताया गया था.
बच्चे की मां गर्भावस्था के पूरे नौ महीने डॉ. अर्तुर कार्वल्हो की निगरानी में थीं. सभी टेस्ट और चेक-अप उन्होंने इसी डॉक्टर से करवाए थे.
बच्चे का जन्म होने के बाद डॉक्टर अर्तुर पर लापरवाही बरतने का आरोप लगा. मेडिकल काउंसिल ने डॉक्टर अर्तुर को निलंबित करने का फैसला किया है.
मामला सामने आने के बाद कई लोगों ने आरोप लगाया कि इसी डॉक्टर ने उनके केस में भी लापरवाही की थी.
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7 अक्टूबर को पुर्तगाल के एक छोटे से शहर में एक बच्चे का जन्म हुआ. बच्चे की आंखें और नाक ग़ायब थे और सिर का एक हिस्सा भी नहीं था.
जन्म के पहले बच्चे के कई तरह के टेस्ट हुए थे. लेकिन फिर भी मां-बाप को बच्चे की इस शारीरिक स्थिति के बारे में नहीं बताया गया था.
बच्चे की मां गर्भावस्था के पूरे नौ महीने डॉ. अर्तुर कार्वल्हो की निगरानी में थीं. सभी टेस्ट और चेक-अप उन्होंने इसी डॉक्टर से करवाए थे.
बच्चे का जन्म होने के बाद डॉक्टर अर्तुर पर लापरवाही बरतने का आरोप लगा. मेडिकल काउंसिल ने डॉक्टर अर्तुर को निलंबित करने का फैसला किया है.
मामला सामने आने के बाद कई लोगों ने आरोप लगाया कि इसी डॉक्टर ने उनके केस में भी लापरवाही की थी.
बच्चे के साथ क्या हुआ था?
पूरे नौ महीने बच्चे की मां डॉक्टर की देखरेख में थी.
उस दौरान तीन बार अल्ट्रासाउंड किया गया. मां-बाप का कहना है कि डॉक्टर ने कभी भी बच्चे की सेहत को लेकर कोई चिंता ज़ाहिर नहीं की.
रिपोर्ट्स के मुताबिक, लेकिन जब गर्भवास्था को छह महीने हो गए तो एक दूसरे क्लिनिक से उन्होंने चौथी बार अल्ट्रासाउंड कराया, जो 5डी अल्ट्रासाउंड था. इससे भ्रूण के बारे में और बारीक जानकारी मिल जाती है.
टेस्ट के वक्त उस क्लिनिक के डॉक्टर ने कहा कि उन्हें कुछ असामान्य लग रहा है और ऐसा लग रहा है कि भ्रूण ठीक से विकसित नहीं हो रहा.
इसके बाद मां-बाप डॉ. अर्तुर कार्वल्हो के पास गए, लेकिन उन्होंने इन चिंताओं को ख़ारिज़ कर दिया.
एएफपी से बातचीत में बच्चे की चाची ने कहा, "डॉ. अर्तुर ने कहा कि कई बार अल्ट्रासाउंड में चेहरे के कुछ हिस्से नहीं दिखते. मसलन, जब बच्चे का चेहरा मां के पेट से जुड़ा हो."
जब बच्चा पैदा हुआ और पता चला कि उसके चेहरे और सिर के कुछ हिस्से नहीं हैं, तो अस्पताल वालों ने मां-बाप को बताया कि बच्चा सिर्फ कुछ घंटे ही ज़िंदा रह पाएगा.
हालांकि, दो हफ्ते बाद भी बच्चा अस्पताल में ज़िंदगी की लड़ाई लड़ रहा है